ऋषी तिवारी
नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को नीति आयोग की संचालन परिषद की पांचवीं बैठक शुरूकिया है । इस बैठक का मुख्य एजेंडा सूखे की स्थिति, कृषि क्षेत्र का संकट और नक्सल प्रभावित जिलों में सुरक्षा को लेकर चिंता बताई जा रही है। राष्ट्रपति भवन में आयोजित बैठक की अध्यक्षता प्रधानमंत्री कर रहे हैं और इस बैठक में गृह मंत्री अमित शाह, सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह भी शामिल हैं। बैठक के एजेंडा में वर्षा जल संचयन, आकांक्षी जिला कार्यक्रम, कृषि क्षेत्र में संरचनात्मक बदलाव के मुद्दे भी शामिल हैं।
राष्ट्रपति भवन में हुई इस बैठक में मोदी ने कहा कि सबका साथ, सबका विकास और सबका विश्वास मंत्र पूरा करने में नीति आयोग की अहम भूमिका है। 2024 तक देश की अर्थव्यवस्था 350 लाख करोड़ रु तक ले जाने का लक्ष्य कठिन है, लेकिन राज्यों के ठोस प्रयासों से इसे हासिल किया जा सकता है। मोदी ने कहा, आय और रोजगार बढ़ाने में निर्यात क्षेत्र की भूमिका अहम है। राज्यों को इस पर ध्यान देना चाहिए। नया जलशक्ति मंत्रालय सिंचाई क्षेत्र में मददगार साबित होगा। केंद्र सरकार 2022 तक किसानों की आय दोगुनी करने के लिए प्रतिबद्ध है। सरकार मछली पालन, पशुपालन, फल और सब्जी उत्पादन पर जोर दे रही है। पीएम किसान, किसान सम्मान निधि और अन्य योजनाओं का लाभ किसानों को समय पर पहुंचाना सुनिश्चित किया जाए।
मोदी ने कहा कि सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास के मंत्र को पूरा करने में नीति आयोग की महत्वपूर्ण भूमिका है। नीति आयोग की गवर्निंग काउंसिल की पांचवीं बैठक का मुख्य एजेंडा सूखे की स्थिति, कृषि क्षेत्र का संकट और नक्सल प्रभावित जिलों में सुरक्षा को लेकर चिंता है। नई मोदी सरकार के कार्यकाल में यह संचालन परिषद की पहली बैठक है। बैठक में गृह मंत्री अमित शाह, सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह भी शामिल हैं। बैठक के एजेंडा में वर्षा जल संचयन, आकांक्षी जिला कार्यक्रम, कृषि क्षेत्र में संरचनात्मक बदलाव के मुद्दे भी शामिल हैं। बैठक में आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री वाई एस जगनमोहन रेड्डी, कर्नाटक के मुख्यमंत्री एच डी कुमारस्वामी, राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी भाग ले रहे हैं।